तेज गेंद को फाइन लेग पर स्कूप करना, स्क्वायर ऑफ द विकेट बॉल को पुल, लेट कट, फ्लिक्स, लॉफ्टेड ड्राइव जैसे शॉट लगाना तो एबी डीविलियर्स का बाएं हाथ का खेल है।
दक्षिण अफ्रीका से सीरीज का पहला मैच हारने के कारण धोनी को अब अगले मुकाबले में हर हाल में जीत दर्ज कर अपनी प्रतिष्ठा बचानी होगी।
रविचंद्रन अश्विन के टीम से बाहर हो जाने के बाद धोनी के लिए गेंदबाजी एक बड़ी समस्या बन गई है। टीम में उनके अलावा कोई ऐसा गेंदबाज नहीं है जो डीविलियर्स के साथ अफ्रीका के निचले क्रम को ध्वस्त कर सके।
ये वो प्लान हैं जो डीविलियर्स को रोकेंगे
20 रन के करीब आउट करना होगा
गौरतलब है कि एबी डीविलियर्स 58 बार 20 रन के करीब आउट हुए हैं। जो पोंटिंग और सचिन के औसत से कही ज्यादा है। इसका मतलब है कि अगर भारत को उनके कहर से बचना है तो उनको जल्दी आउट करना ही होगा।
आक्रामक गेंदबाजी
उन्हें क्लीन बोल्ड, विकेट के पीछे कैच और एलबीडबल्यू जल्दी किया जा सकता है क्योंकि उनका डिफेन्स थोड़ा कमजोर है। उनके जमने से पहले आक्रामक और अच्छे गेंदबाजों से गेंदबाजी करवाकर उन्हें जल्द से जल्द आउट करने की कोशिश करनी चाहिए।
फील्डरों को करना होगा रन आउट
डीविलियर्स के आउट होने वाले तरीकों पर अगर गौर किया जाए तो अब तक वह 151 बार आउट हुए हैं जिसमें 70 बार कैच और 17 बार रनआउट हुए हैं। जो सचिन और पोंटिंग से भी ज्यादा है। इससे ये पता चलता है की वह क्षेत्ररक्षको को मौका देते हैं या यूँ कहें अच्छी फील्डिंग से उन्हें आउट किया जा सकता है।
ये डीविलियर्स की कोई कमजोरी नही है लेकिन वह फील्डरों और गेंदबाजों पर दबाव बनाने के लिए विकेटों के बीच में तेज दोड़ लगाते हैं और इसी चक्कर में वह रनआउट हो जाते हैं। साथ ही उनके इसी काम की वजह से उनके साथी बल्लेबाज भी आ दवाब में आ जाते हैं और इसका खामियाजा पिछले मैच में अमला को रनआउट होकर चुकाना पड़ा।
लाइन और लेंथ
डीविलियर्स तीसरे स्टंप के आस-पास अपना बल्ला रखते हैं और घुमते रहते हैं इसलिए उन्हें तीसरे और चौथे स्टंप्स के करीब गेंदबाजी की जाए जिससे उन्हें अपने शॉट के लिए रूम और जरूरी आजादी न मिल पाए।
अगर आप उन्हें स्लॉग ओवर में गेंदबाजी कर रहे हैं तो गेंद की लम्बाई फुल और सीधी रखनी होगी। ऐसा करने में कुमार को छोडकर भारत के बाकी गेंदबाज़ अभी उतना सफल नही हुए हैं।
स्पिन आक्रमण का इस्तेमाल
डीविलियर्स स्पिन के खिलाफ कमजार खिलाड़ी नहीं हैं पर वह 182 पारियों में 51 बार स्पिनरों के शिकार हुए हैं और पिछले मैच में उन्हें अश्विन ने एक अच्छी ऑफ स्पिन गेंद पर आउट कर दिया था।
वैसे डीविलियर्स नेट्स में ताहिर की गेंदों पर काफी अभ्यास करते हैं। अश्विन और अन्य भारतीय स्पिनरों को वो आईपीएल में खेल चुके हैं। मिश्रा और हरभजन को उनके समक्ष और चतुराई से गेंदबाजी करनी होगी।
स्कोर चेज करते समय कमजोर
डीविलियर्स का पहले बल्लेबाजी करते वक्त 104 का स्ट्राइक रेट रहा है लेकिन चेज करते वक्त वह थोड़ा दबाव में रहते हैं। डीविलियर्स ने 97 पारियों में पहले बल्लेबाजी के दौरान 15 शतक और 21 अर्धशतक बनाए हैं, तो वही इसके उलट 87 पारियों में दूसरी बल्लेबाजी करने के दौरान उन्होंने 5 शतक और 26 अर्धशतक बनाएं हैं।
दक्षिण अफ्रीका चेज करने में अच्छी नही है और ये डीविलियर्स पर अलग से ज्यादा दबाव बनाती है। डीविलियर्स ने हमेशा अपनी पहले बल्लेबाजी से खेल को को प्रभावित किया है न की दूसरी बार बल्लेबाजी करते हुए।
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